छत्तीसगढ़ सामान्य ज्ञान :
छत्तीसगढ़ राज्य का निर्माण
- छत्तीसगढ़ राज्य का निर्माण 01 नवंबर, 2000 को हुआ।
- इससे पहले छत्तीसगढ़ मध्यप्रदेश का हिस्सा था।
- मध्य प्रदेश के 30.47% हिस्से को अलग करके ने राज्य छत्तीसगढ़ की स्थापना की गई।
- छत्तीसगढ़ भारत संघ का 26 वां राज्य है।
- आजादी से पहले छत्तीसगढ़ मध्य प्रांत (सेंट्रल प्राविंस) एवं बरार का हिस्सा था।
- 1862 में मध्य प्रांत के अंतर्गत छत्तीसगढ़ को एक संभाग बनाया गया। इससे पहले छत्तीसगढ़ मध्य प्रांत का एक जिला था।
- 1862 में छत्तीसगढ़ संभाग में तीन जिले थे- रायपुर, बिलासपुर और संबलपुर।
- 1905 के बंगाल विभाजन के दौरान छत्तीसगढ़ के संबलपुर जिले और कुछ उड़िया भाषी क्षेत्रों को बंगाल में मिला लिए गए। उस समय बिहार और ओडिशा भी बंगाल के अंतर्गत आते थे। इसी प्रकार बंगाल प्रांत के सरगुजा, उदयपुर, कोरिया, जशपुर आदि कुछ हिंदी भाषी क्षेत्रों को मध्य प्रांत के छत्तीसगढ़ संभाग में मिलाया गया।
- इस प्रकार 1905 में ही छत्तीसगढ़ का वर्तमान नक्शा उभर चुका था।
- पृथक छत्तीसगढ़ राज्य का सपना सबसे पहले पंडित सुंदरलाल शर्मा ने देखा।
- पंडित सुंदरलाल शर्मा ने ही त्रिपुरी कांग्रेस 1939 में अलग छत्तीसगढ़ राज्य की मांग रखी थी।
- अलग छत्तीसगढ़ राज्य की मांग करने वाली पहली संस्था छत्तीसगढ़ शोषण विरोधी मंच था जिसका गठन 1946 में ठाकुर प्यारेलाल सिंह ने किया था।
- 1955 में मध्य प्रांत की विधानसभा में ठाकुर रामकृष्ण सिंह ने छत्तीसगढ़ राज्य गठन के लिए पहला विधायी प्रयास करते हुए एक गैर सरकारी विधेयक प्रस्तुत किया।
- डॉ खूबचंद बघेल ने राजनांदगांव में 1956 में अलग छत्तीसगढ़ राज्य की मांग करने हेतु छत्तीसगढ़ महासभा का गठन किया।
- डॉ खूबचंद बघेल ने ही 1967 में छत्तीसगढ़ भ्रातृसंघ की स्थापना की।
- 1976 में शंकर गुहा नियोगी ने छत्तीसगढ़ मुक्ति मोर्चा का गठन किया।
- पृथक छत्तीसगढ़ राज्य निर्माण से संबंधित पहला शासकीय संकल्प मध्य प्रदेश विधानसभा में 1, मई 1998 में पारित किया गया।
- पृथक छत्तीसगढ़ राज्य का निर्माण मध्य प्रदेश राज्य पुनर्गठन अधिनियम 2000 के अनुसार किया गया।
- मध्य प्रदेश राज्य पुनर्गठन विधेयक 25 जुलाई 2000 को लोकसभा में प्रस्तुत हुआ; 31 जुलाई को लोकसभा में पारित हुआ; 03 अगस्त को राज्यसभा में प्रस्तुत होकर 09 अगस्त को पारित हुआ। तथा 25 अगस्त 2000 को राष्ट्रपति के हस्ताक्षर होने से विधेयक पारित होकर अधिनियम बना।
छत्तीसगढ़ का इतिहास
- कबरा पहाड़ (पूर्व पाषाणकालीन) कहां है?- रायगढ़।
- सिंघनपुर (उत्तर पाषाण कालीन) रायगढ़ जिले में है।
- चितवाडोंगरी गुफा (नव पाषाणयुगीन) राजनांदगांव में है।
- बालोद जिले के धनौरा-करकाभाट में महापाषाण घेरे सैंकड़ों की संख्या में मिले हैं।
- रामायण काल में छत्तीसगढ़ को दक्षिण कोसल कहा जाता था।
- दक्षिण कोसल के राजा भानुमंत की पुत्री कौशल्या श्री राम की माता एवं उत्तर कोसल के राजा दशरथ की पत्नी थी।
- शिवरीनारायण में श्री राम ने शबरी के जूठे बेर खाए थे।
- राम के बाद छत्तीसगढ़ (दक्षिण कोसल) का राज्य उसके छोटे पुत्र कुश को मिला।
- महाभारत काल में छत्तीसगढ़ को प्राक्कोसल कहा गया।
- गौतम बुद्ध सिरपुर आए थे।
- बौद्ध दार्शनिक नागार्जुन और बौद्ध भिक्षु आनंद प्रभु भी सिरपुर आए थे।
- रामगढ़ की पहाड़ी में जोगीमारा नामक स्थान में सीताबोंगरा नाम की गुफा को दुनिया का सबसे पुराना नाट्य शाला माना गया है।
- प्रसिद्ध चीनी यात्री ह्वेनसांग ने 639 ई. में सिरपुर और मल्हार की यात्रा की।
- बस्तर में काकतीय वंश ने सबसे ज्यादा समय तक शासन किया।
- अन्नमदेव ने काकतीय वंश की स्थापना की।
- बस्तर के काकतीय वंश के अंतिम शासक कौन था?- प्रवीर चंद्र भंजदेव।
- बस्तर के किस महाराजा ने अपने को रथपति कहा?- पुरुषोत्तम देव ने।
- बस्तर दशहरा को किसने शुरू कराया?- पुरुषोत्तम देव ने।
- बस्तर दशहरा में किसकी पूजा होती है?- दंतेश्वरी देवी की।
- बस्तर दशहरा को कौन-सा पर्व कहते हैं?- गोंचा पर्व।
- बस्तर दशहरा कितने दिन चलता है?- 75 दिन।
- बस्तर दशहरा में किसकी रथ यात्रा निकाली जाती है?- दंतेश्वरी माई की।
- हल्बा विद्रोह का नेता कौन था?- अजमेर सिंह।
- हल्बा विद्रोह कब हुआ?- 1774 में।
- परलकोट विद्रोह का नेता कौन थे?- गेंदसिंह।
- किस विद्रोह में धावड़ा वृक्ष की टहनी का उपयोग संदेश देने के लिए किया गया?- परलकोट विद्रोह में।
- भूमकाल विद्रोह कब हुआ?- 1910 में।
- भूमकाल विद्रोह का नेता कौन थे?- गुंडाधूर नेता थे।
- भूमकाल विद्रोह में संदेह देने के लिए किन चीजों का उपयोग किया जाता था?- आम की टहनी और लाल मिर्च।
- नल वंश का शासन किस क्षेत्र में था?- कोरापुट और भोपालपटनम क्षेत्रों में।
- राजिम में राजीव लोचन मंदिर का निर्माण किसने करवाया?- नल वंश के राजा विलासतुंग ने।
- छत्तीसगढ़ का स्वर्ण युग किसे कहा गया है?- महाशिव गुप्त बालार्जुन के शासनकाल को छत्तीसगढ़ का स्वर्ण युग माना जाता है।
- लक्ष्मण मंदिर कहां है?- सिरपुर में।
- लक्ष्मण मंदिर को किसने बनवाया? – राजमाता वासटा ने।
- महारानी वासटा किस शासक की माता थी?- महाशिव गुप्त बालार्जुन की माता थी।
- महारानी वासटा ने किसकी याद में सिरपुर का लक्ष्मण मंदिर बनवाया?- अपने पति की याद में।
- लक्ष्मण मंदिर किससे बना है?- लाल ईंटों से।
- लक्ष्मण मंदिर में किसकी मूर्ति है?- विष्णु भगवान् की।
- ह्वेनसांग किसके समय में सिरपुर आया था?- महाशिव गुप्त बालार्जुन के समय।
- कल्चुरी वंश के शासक छत्तीसगढ़ में कहां से आए थे?- जबलपुर के पास त्रिपुरी से आए थे।
- कलचुरियों की पहली राजधानी किस स्थान में थी?- तुम्माण में।
- तुम्माण कहां है?- कोरबा जिले में।
- रतनपुर नगर की स्थापना किसने किया था?- कल्चुरी शासक रत्नदेव प्रथम ने।
- रतनपुर को किसने कल्चुरी राज्य की राजधानी बनाया?- रत्नदेव प्रथम ने।
- रायपुर शहर की स्थापना किसने की?- कल्चुरी राजा रामचंद्र देव ने।
- रायपुर को अपनी राजधानी किसने बनाया ?- ब्रह्मदेव राय ने।
- खल्लारी के विष्णु मंदिर का निर्माण किसने करवाया था?- देवपाल मोची ने।
- कहां के कल्चुरी लहुरी (छोटी) शाखा के कहलाए ? – रायपुर के।
- गूरु घासीदास का जन्म कब हुआ था?- 18, दिसंबर 1756 में।
- गुरु घासीदास का जन्म कहां हुआ था?- गिरोधपुरी में।
- गुरु घासीदास के पिता का क्या नाम था?- महंगू नाम था।
- गुरु घासीदास की माता का क्या नाम था?- अमरौतिन।
- गुरु घासीदास के पुत्र का क्या नाम था?- गुरु बालक दास।
- गिरौदपुरी कहां है?- जिला बलौदा बाजार के कसडोल विकासखण्ड में।
- अंग्रेजों के समय छत्तीसगढ़ में कितनी रियासतें थीं?- 14.
- छत्तीसगढ़ की सबसे बड़ी रियासत कौन सी थी?- बस्तर।
- छत्तीसगढ़ की सबसे छोटी रियासत कौन सी थी?- सक्ती।
- सबसे अधिक आमदनी वाली रियासत कौन सी थी?- कोरिया।
- सरस्वती पुस्तकालय की स्थापना किसने की थी?- ठाकुर प्यारेलाल सिंह ने राजनांदगांव में।
- बंगाल नागपुर काटन मिल्स (बी एन सी मिल) कहां था?- राजनांदगांव में।
- देश की सबसे पहली मजदूर हड़ताल कहां हुई थी?- बी एन सी मिल राजनांदगांव में।
- राजनांदगांव में 1920 में हुए बी एन सी मिल हड़ताल में कौन से श्रमिक नेता आए थे जो भारत का राष्ट्रपति बने?- वी वी गिरि।
- छत्तीसगढ़ के कौन से नेता भूदान आंदोलन से जुड़े थे?- ठाकुर प्यारेलाल सिंह।
- किस नेता को त्यागमूर्ति कहा गया?- ठाकुर प्यारेलाल सिंह को।
- छत्तीसगढ़ में सहकारिता आंदोलन का जनक किसे माना जाता है?- ठाकुर प्यारेलाल सिंह को सहकारिता का जनक माना जाता है।
- प्रदेश का पहला जंगल सत्याग्रह कहां हुआ?- नगरी सिहावा जंगल सत्याग्रह छत्तीसगढ़ का पहला जंगल सत्याग्रह था जो 21 जनवरी 1922 को शुरू हुआ।
- रूद्री नवागांव (जिला धमतरी) का जंगल सत्याग्रह कब हुआ?- 1930 में।
- रूद्री नवागांव जिला धमतरी जंगल सत्याग्रह का नेतृत्व किसने किया?- बाबू छोटेलाल श्रीवास्तव ने।
- बदरा टोला (राजनांदगांव जिला) जंगल सत्याग्रह (1939) का नेतृत्व करते हुए कौन शहीद हुए थे?- रामाधीन गोंड।
- विद्या मंदिर योजना किसने शुरू किया था?- पंडित रविशंकर शुक्ल ने।
- 1930 में पट्टा मत लो आंदोलन किसने चलाया था?- ठाकुर प्यारेलाल सिंह ने।
- विवेक वर्धन आश्रम किसने स्थापित किया था?- यति यतन लाल ने महासमुंद में स्थापित किया था।
- किरारी का काष्ठ स्तंभ किस जिले में है?- जांजगीर ।
- किरारी का काष्ठ स्तंभ किस समय का है?- सातवाहन काल कहा।
- सातवाहन राजा अपीलक की मुद्रा कहां से मिली है?- जांजगीर जिले के बालपुर से।
- समुद्रगुप्त ने दक्षिण कोसल के किस राजा को हराया था?- महेंद्र सेन को हराया था।
- कालिदास ने मेघदूत की रचना कहां पर की दी?- रामगढ़ की पहाड़ी में।
- एक गढ़ में कितने गांव होते थे?- 84 गांव।
- छत्तीसगढ़ का तात्या टोपे किसे कहते हैं?- सुरेंद्र साय को।
- सुरेंद्र साय कहां के जमींदार थे?- संबलपुर के।
- छत्तीसगढ़ में 1857 के विद्रोह का रायपुर में किसने नेतृत्व किया?-हनुमान सिंह ने।
- तीसरे रेजीमेंट के मैगजीन लश्कर हनुमान सिंह ने 18 जनवरी, 1858 को किसकी हत्या कर दी?- सार्जेंट मेजर सिडवेल की।
- छत्तीसगढ़ में राष्ट्रीय जागरण के अग्रदूत किसे माना गया है?- पं सुंदर लाल शर्मा को।
- पंडित सुंदरलाल शर्मा का जन्म कहां हुआ था?- राजिम के पास चमसूर ग्राम में।
- प्रसिद्ध कंडेल नहर सत्याग्रह किस जिले में हुआ था?- धमतरी जिले में।
- महात्मा गांधी छत्तीसगढ़ पहली बार कब आए?- 20 दिसंबर,1920.
- महात्मा गांधी 1920 में किस सत्याग्रह के लिए छत्तीसगढ़ आए थे?- कंडेल नहर सत्याग्रह।
- कंडेल नहर सत्याग्रह के लिए किसने महात्मा गांधी को 1920 में छत्तीसगढ़ बुलाया था?- पंडित सुंदरलाल शर्मा ने।
- गांधी जी के 1920 में छत्तीसगढ़ आगमन के समय उनके साथ कौन राष्ट्रीय नेता छत्तीसगढ़ आए थे?- अली बंधु।
- गांधी जी ने किस नेता को अछूतोद्धार के क्षेत्र में अपना गुरु माना था?- पंडित सुंदरलाल शर्मा को।
- पंडित सुंदरलाल ने अछूत समझे जाने वाले लोगों को किस मंदिर में प्रवेश कराया?- राजिम लोचन मंदिर में।
- पंडित सुंदरलाल शर्मा को कहां के राजा ने 18 गांव दान में दिए?- कांकेर नरेश ने।
- जेल पत्रिका किसने निकाली थी?- पंडित सुंदरलाल शर्मा ने।
- पुष्प की अभिलाषा शीर्षक कविता किसने लिखी?- माखनलाल चतुर्वेदी ने बिलासपुर के सेंट्रल जेल में।
- सविनय अवज्ञा आंदोलन के समय छत्तीसगढ़ क्षेत्र के लिए किसे डिक्टेटर नियुक्त किया गया था?- पं रविशंकर शुक्ल को।
- 1940 के व्यक्तिगत सत्याग्रह के दौरान छत्तीसगढ़ में किसे प्रथम सत्याग्रही नियुक्त किया गया था?- पं रविशंकर शुक्ल को।
- असम राज्य में काम करने वाले छत्तीसगढ़ क्षेत्र के मजदूरों के अधिकारों के लिए किसने आंदोलन चलाया था?- ठाकुर प्यारेलाल सिंह ने।
- लक्ष्मण मंदिर, आनंद प्रभु कुटीर विहार और स्वस्तिक विहार कहां हैं?- सिरपुर में।
- कुलेश्वर महादेव मंदिर कहां स्थित है?- राजिम के त्रिवेणी संगम में।
- चंपारण क्यों प्रसिद्ध है?- क्योंकि यहां पर महाप्रभु वल्लभाचार्य जी का जन्म हुआ था।
- वल्लभाचार्य जी कौन थे?- वल्लभाचार्य जी एक प्रसिद्ध वैष्णव संत थे।
- शुद्धाद्वैत मत किसने चलाया था?- स्वामी वल्लभाचार्य जी ने।
- पुष्टि मार्ग किसने चलाया?- स्वामी वल्लभाचार्य जी ने पुष्टि मार्ग चलाया जिसका यह मानना है कि भगवान की भक्ति भी उन्हीं की पुष्टि अर्थात् कृपा से मिलती है।
- चंपारण किस जिले में है?- रायपुर जिले में।
- डिडिनेश्वरी मंदिर (डिडिन दाई मंदिर) कहां स्थित है?- मल्हार बिलासपुर जिले में।
- छत्तीसगढ़ की सबसे पुरानी मूर्ति कौन सी है?- चतुर्भुजी विष्णु प्रतिमा।
- विष्णु की चतुर्भुजी प्रतिमा कहां से मिली है?- बूढ़ीखार मल्हार जिला बिलासपुर से।
- छत्तीसगढ़ की सर्वश्रेष्ठ धातु प्रतिमा कौन सी है?- कांसे की बनी तारा की प्रतिमा।
- तारा की धातु प्रतिमा कहां से मिली है?- सिरपुर से।
- पुरातात्विक महत्व के स्थल गढ़ धनौरा किस जिले में है?- कोंडागांव जिले में।
- कोटमसर गुफा कहां स्थित है?- जगदलपुर/बस्तर जिले में।
- कोटमसर गुफा की खोज किसने की?- प्रोफेसर शंकर तिवारी ने।
- चंद्रादित्य मंदिर कहां स्थित है?- बारसूर, जिला दंतेवाड़ा में।
- मामा भांजा मंदिर कहां स्थित है?- बारसूर में।
- चंद्रहासिनी देवी का मंदिर किस जिले में है?- जांजगीर-चांपा।
- भांडदेउल मंदिर कहां है?- आरंग में।
- आरंग का भांड देउल मंदिर किस धर्म से संबंधित है?- जैन धर्म।
- काल पुरुष/रूद्र शिव की मूर्ति कहां है?- तालागांव बिलासपुर जिला।
- रामायण काल से संबंधित स्थल तुरतुरिया कहां है?- जिला बलौदा बाजार कसडोल तहसील।
- धार्मिक स्थल दामाखेड़ा किस किस पंथ से संबंधित है?- कबीर पंथ से।
- दामाखेड़ा किस जिले में है?- बलौदा बाजार जिले के सिमगा तहसील में है।
- छत्तीसगढ़ का खजुराहो किसे कहा जाता है?- भोरमदेव।
- भोरमदेव किस देवता का मंदिर है?- शिव जी का मंदिर।
- भोरमदेव मंदिर कहां स्थित है?- जिला कबीरधाम चौरा ग्राम।
- भोरमदेव मंदिर किस शैली में बनाया गया है?- नागर शैली में।
- भोरमदेव मंदिर को किसने बनवाया?- फणिनाग वंशी राजा गोपाल देव ने।
- भोरमदेव मंदिर कब बनाया गया?- 1089 ई० में फणिनाग वंशी राजा गोपाल देव के समय।
- भोरमदेव के नजदीक और कौन कौन सी संरचनाएं हैं?- मड़वा महल और छेरकी महल।
- मड़वा महल को किसने बनवाया?- फणि नाग वंशी रामचंद्र देव ने।
जनगणना
- सन् 2011 की गणना के अनुसार छत्तीसगढ़ की जनसंख्या कितनी है? – 2,55,45,198
- छत्तीसगढ़ की जनसंख्या देश की जनसंख्या का कितने प्रतिशत है?- 2.11%.
- जनसंख्या के अनुसार देश का छत्तीसगढ़ में कौन सा क्रम है?- 16वां।
- जनसंख्या की दृष्टि से छत्तीसगढ़ का सबसे बड़ा जिला कौन सा है?- रायपुर ।
- सबसे कम जनसंख्या वाला जिला कौन सा है?- नारायणपुर।
- सबसे ज्यादा नगरीय/शहरी जनसंख्या वाला जिला कौन सा है?- दुर्ग।
- 2011 में छत्तीसगढ़ का जनसंख्या घनत्व कितना है?- 189 व्यक्ति प्रति वर्ग किलोमीटर।
- राज्य का सबसे ज्यादा जनसंख्या घनत्व वाला जिला कौन सा है?- जांजगीर-चांपा।
- सबसे कम जनसंख्या घनत्व वाला जिला कौन सा है?- बीजापुर और नारायणपुर।
- राज्य का साक्षरता दर कितना है?- 70.28%.
- सबसे अधिक साक्षर जिला कौन सा है?- दुर्ग जिला।
- न्यूनतम साक्षर जिला कौन सा है?- बीजापुर।
- छत्तीसगढ़ में लिंगानुपात कितना है?- 991
- छत्तीसगढ़ की जनसंख्या वृद्धि दर कितनी है?- 22.61
छत्तीसगढ़ की नदियां और सिंचाई परियोजनाएं
- छत्तीसगढ़ के जल प्रवाह को चार मुख्य अपवाह तंत्रों में बांटा गया है।
- महानदी अपवाह तंत्र,
- गोदावरी अपवाह तंत्र,
- सोन-गंगा अपवाह तंत्र, और
- नर्मदा अपवाह तंत्र।
महानदी अपवाह तंत्र
- महानदी अपवाह तंत्र छत्तीसगढ़ का सबसे बड़ा अपवाह तंत्र है।
- यह तंत्र छत्तीसगढ़ राज्य का 58.48% जल प्रवाहित करता है।
- महानदी छत्तीसगढ़ राज्य में 286 किमी बहती है।
- शिवनाथ, खारून, हसदो, मांड, ईब, मनियारी, अरपा, जोंक, पैरी, केलो आदि महानदी की सहायक नदियां हैं।
गोदावरी अपवाह तंत्र
- गोदावरी अपवाह तंत्र में छत्तीसगढ़ का 28% जल प्रवाहित होता है।
- छत्तीसगढ़ में गोदावरी अपवाह तंत्र की मुख्य नदी इंद्रावती है।
- शबरी, कोटरी, शंखिनी, डंकिनी, बाघ, नारंगी, गुडरा बोरडिंग आदि गोदावरी की सहायक नदियां हैं।
सोन (गंगा) अपवाह तंत्र
- गंगा अपवाह तंत्र छत्तीसगढ़ का लगभग 13% जल ले जाता है।
- रिहंद, कन्हर, बनास गोपद आदि इस तंत्र की सहायक नदियां हैं।
नर्मदा अपवाह तंत्र
- नर्मदा अपवाह तंत्र छत्तीसगढ़ का सबसे छोटा अपवाह तंत्र है। इसके माध्यम से छत्तीसगढ़ का 0.58% जल नर्मदा में जाता है।
- बंजर और टाडा छत्तीसगढ़ में नर्मदा अपवाह तंत्र की सहायक नदियां हैं।
महानदी
- महानदी को छत्तीसगढ़ की गंगा और जीवनरेखा माना जाता है।
- महानदी छत्तीसगढ़ की सबसे बड़ी नदी है।
- महानदी की कुल लंबाई 858 किलोमीटर है।
- महानदी छत्तीसगढ़ में 286 किलोमीटर बहती है।
- महानदी का उद्गम धमतरी जिले के सिहावा पर्वत से हुआ है।
- महानदी छत्तीसगढ़ राज्य के धमतरी, कांकेर, बालोद, रायपुर, महासमुंद, बलौदा बाजार, जांजगीर-चांपा तथा रायगढ़ 8 जिलों में बहती है।
- ओडिशा के संबलपुर जिले में महानदी पर हीराकुंड बांध बनाया गया है।
- हीराकुंड बांध देश का सबसे लंबा बांध है।
- प्राचीन काल में महानदी को चित्रोत्पला और कनकनंदिनी के नाम से भी जाना जाता था।
- महानदी पहले दक्षिण से उत्तर दिशा में बहती है फिर पूर्व दिशा की ओर बही है।
- महानदी कटक के निकट बंगाल की खाड़ी में गिरती है
- धमतरी, राजिम, आरंग, सिरपुर, पलारी, शिवरीनारायण, चंद्रपुर आदि महानदी के नजदीक बसे मुख्य शहर है।
अन्य नदियां
- रिहंद नदी को सरगुजा की जीवन रेखा माना जाता है।
- इंद्रावती बस्तर की जीवन रेखा कहलाती है।
- इंद्रावती बस्तर संभाग को दो भागों में बांटती है।
- शिवनाथ नदी के उत्तर में 18 गढ़ और दक्षिण में 18 गढ़ थे।
- शिवनाथ छत्तीसगढ़ की सबसे लंबी नदी है। इसकी लंबाई 290 किमी है जबकि छत्तीसगढ़ की सबसे बड़ी नदी महानदी प्रदेश में 286 किमी बहती है।
- शंखिनी और डंकिनी छत्तीसगढ़ की सर्वाधिक प्रदूषित नदियां हैं ।
- लौह अयस्क बहाकर लाने के कारण शंखिनी डंकिनी नदियों का जल बहुत ही दूषित और लाल हो जाता है।
- मनियारी नदी बिलासपुर और मुंगेली जिले की सीमा बनाती है।
- खैरागढ़ में आमनेर, मुस्का और पिपरिया नदियों का संगम होता है।
किनारे बसे नगर और संबंधित नदियां
- धमतरी – महानदी
- राजिम – महानदी
- आरंग – महानदी
- सिरपुर – महानदी
- पलारी – महानदी
- शिवरीनारायण – महानदी
- चंद्रपुर – महानदी
- जगदलपुर – इंद्रावती नदी
- भैरमगढ़ – इंद्रावती नदी
- बारसूर – इंद्रावती नदी
- भोपालपटनम – इंद्रावती नदी
- अंबागढ़ चौकी – शिवनाथ नदी
- राजनांदगांव – शिवनाथ नदी
- दुर्ग – शिवनाथ नदी
- रायपुर – खारून नदी
- चांपा – हसदो नदी
- कोरबा – हसदो नदी
- कोंडागांव – नारंगी नदी
- रायगढ़ – केलो नदी
- बिलासपुर – अरपा नदी
- बालोद – तांदुला नदी
- सुकमा – शबरी/कोलब नदी
- कोंटा – शबरी नदी
- कांकेर – दूध नदी
- मुंगेली – आगर नदी
नदियां और उनके उद्गम स्थल
- महानदी – सिहावा पर्वत, जिला धमतरी
- इंद्रावती – कालाहांडी, ओडिशा
- शिवनाथ – गोड़री, कोरची तहसील, गढ़चिरौली महाराष्ट्र जो पानाबरस के नजदीक है।
- आगर नदी – पंडरिया की पहाड़ी
- कोटरी नदी – मोहला क्षेत्र।
- शबरी नदी – कोरापुट ओडिशा
- हाफ नदी – कांदावानी पहाड़ी, कबीरधाम जिला
- हसदो नदी – कैमूर की पहाड़ी, कोरिया जिला
- रिहंद नदी – छूरी मतरिंगा (उदयपुर की पहाड़ी)
- मनियारी नदी – लोरमी पठार।
- पैरी नदी – भाठी गढ़ (भातृगढ़) पहाड़ी जिला गरियाबंद
- अरपा नदी – खोडरी पहाड़ी
- नारंगी नदी – माकड़ी, जिला कोंडागांव
- मांड नदी – मैनपाट।
छत्तीसगढ़ के नदी संगम
- राजिम संगम – महानदी में पैरी और सोंढूर का संगम रायपुर जिले के राजिम में होता है।
- शिवरीनारायण संगम – जांजगीर-चांपा जिले के शिवरीनारायण में शिवनाथ और जोंक नदियां महानदी में मिलती हैं।
- चंद्रपुर संगम – जांजगीर जिले के चंद्रपुर में महानदी, मांड और लाट नदियों का संगम होता है।
नदी परियोजनाएं
- छत्तीसगढ़ की प्रथम बहुद्देशीय परियोजना मिनी माता परियोजना है।
- मिनी माता परियोजना हसदो नदी पर कोरबा जिले में माचाडोली/बांगो नामक स्थान में है।
- हसदो नदी पर 1967 में बनाया गया बांध छत्तीसगढ़ का सबसे ऊंचा बांध है।
- छत्तीसगढ़ की सबसे पुरानी परियोजना तांदुला जलाशय परियोजना है। (1912).
- महानदी की सहायक सिलियारी नदी पर माड़मसिल्ली बांध बनाया गया है।
- माड़मसिल्ली बांध 1923 में बनाया गया।
- सिकासार बांध पैरी नदी पर गरियाबंद जिले के मैनपुर में है।
- छत्तीसगढ़ की सबसे बड़ी सिंचाई परियोजना महानदी परियोजना है।
- महानदी परियोजना में गंगरेल नामक स्थान पर रविशंकर जलाशय बनाया गया है।
- गंगरेल बांध छत्तीसगढ़ का सबसे बड़ा बांध है।
- यह 1350 मीटर लंबा है।
- महानदी परियोजना 1980 में बनी।
- वीर नारायण सिंह परियोजना महासमुंद जिले में कोडार नदी पर है।
- राजीव गांधी परियोजना मनियारी नदी पर लोरमी जिले में खुड़िया नायक स्थान पर बनाया गया है।
- संजय गांधी जलाशय खारंग नदी पर बिलासपुर जिला के रतनपुर के पास खूंटाघाट में बनाया गया है।
- दिलीप सिंह जूदेव परियोजना केलो नदी पर रायगढ़ जिले में स्थित है।
- श्याम परियोजना घुनघुट्टा नाला पर बलरामपुर जिले में है।
- दुधवा जलाशय महानदी पर कांकेर जिले में है।
- सुतियापाट परियोजना कबीरधाम जिले में है।
- बोधघाट परियोजना बीजापुर जिले में इंद्रावती नदी पर निर्माणाधीन है जो कि दंतेवाड़ा जिले के बारसूर से बिल्कुल नजदीक है।
- सूखानाला बैराज राजनांदगांव जिले में है।
- मोंगरा जलाशय शिवनाथ नदी पर राजनांदगांव जिले में है।
- मटिया मोती और ढारा (डंगोरा) जलाशय राजनांदगांव जिले में है।
- भैंसाझार परियोजना अरपा नदी पर बिलासपुर जिला में है।
- तांदुला जलाशय बालोद जिले में है।
- किंकारी परियोजना रायगढ़ जिले में है।
छत्तीसगढ़ के जलप्रपात
- गुप्तेश्वर जल प्रपात – शबरी नदी पर।
- मलाजकुंडम जल प्रपात – दूध नदी पर कांकेर जिले में।
- सातधारा – बोधघाट के पास भैरमगढ़ जिले में इंद्रावती नदी सात धाराओं में बंटकर कुछ दूरी पर फिर से एक होकर बहती है।
- रानीदाह जलप्रपात ईब नदी पर जशपुर जिले में है।
- रानी दरहा जलप्रपात शबरी नदी पर सुकमा जिले में स्थित है।
- तीरथगढ़ जलप्रपात बस्तर जिले में है।
- तीरथगढ़ जलप्रपात छत्तीसगढ़ का सबसे ऊंचा जलप्रपात है।
- चर्रे मर्रे जलप्रपात कांकेर जिले में है।
- पवई जलप्रपात सरगुजा जिले में है।
- अमृत धारा जलप्रपात कोरिया जिले में है।
वन संपदा, राष्ट्रीय उद्यान, अभ्यारण्य
- छत्तीसगढ़ में 59,772 वर्ग किलोमीटर में वन है जो कि राज्य के कुल क्षेत्रफल का 44.21% है।
- वन क्षेत्रफल में देश में राज्य का तीसरा स्थान है।
- छत्तीसगढ़ में 6 वन वृत हैं।
- राज्यके कुल वन क्षेत्र खां 43.13% आरक्षित वन है; 40.22% संरक्षित वन है तथा 16.65% क्षेत्र अवर्गीकृत वन है।
- राष्ट्रीय उद्यान और वन्य जीव अभयारण्य आरक्षित वन क्षेत्र में आते हैं।
- छत्तीसगढ़ में सबसे अधिक क्षेत्र में मिश्रित वन हैं।(43.52%)
- उसके बाद साल वृक्षों के वन पाए जाते हैं।(40.56%)
- सागौन वन 9.42% क्षेत्र में है।
- छत्तीसगढ़ में देश का 17% तेंदू पत्ता उत्पादन होता है।
- सबसे अधिक साल वन बस्तर क्षेत्र में है। इसलिए बस्तर को साल वनों का द्वीप कहा गया है।
- वन अनुसंधान एवं शोध संस्थान बिलासपुर में है।
- सबसे अधिक वन क्षेत्र नारायणपुर जिले में है। क्षेत्रफल और प्रतिशत दोनों ही दृष्टि से।
- सबसे कम वन क्षेत्रफल और वन क्षेत्र प्रतिशत बेमेतरा जिले में है।
- छत्तीसगढ़ में 3 राष्ट्रीय उद्यान और 11 वन्य जीव अभयारण्य हैं।
- राष्ट्रीय उद्यानों के अंतर्गत राज्य का 2929 वर्ग किलोमीटर क्षेत्र आता है।
- इसी तरह प्रदेश में 3577 वर्ग किलोमीटर क्षेत्र वन्यजीव अभयारण्यों के अंतर्गत आता है।
- इस प्रकार राष्ट्रीय उद्यानों और अभ्यारण्यों के अंतर्गत कुल 6506 वर्ग किलोमीटर क्षेत्र आता है जो राज्य के कुल क्षेत्रफल 135191 का 4.81% है तथा प्रदेश के कुल वन क्षेत्र का 10.88% है।
- सबसे बड़ा राष्ट्रीय उद्यान गुरु घासीदास राष्ट्रीय उद्यान कोरिया और सूरजपुर ज़िलों में फैला है।
- गुरु घासीदास राष्ट्रीय उद्यान का क्षेत्रफल 1440.705 वर्ग किलोमीटर है।
- इंद्रावती राष्ट्रीय उद्यान बीजापुर जिले के भैरमगढ़, कुटरू क्षेत्र में है।
- इंद्रावती राष्ट्रीय उद्यान 1258 वर्ग किलोमीटर क्षेत्र में विस्तृत है। इसे 1981 में राष्ट्रीय उद्यान का दर्जा दिया गया।
- इंद्रावती राष्ट्रीय उद्यान को 1983 से टाइगर प्रोजेक्ट में शामिल किया गया।
- कांगेर घाटी राष्ट्रीय उद्यान बस्तर जिले में जगदलपुर जिला मुख्यालय से 27 किमी की दूरी पर स्थित है।
- कांगेर घाटी राष्ट्रीय उद्यान तीरथगढ़ ओडिशा राज्य की सीमा तक 200 वर्ग किलोमीटर क्षेत्र में फैला है।
- इस प्रकार कांगेर घाटी छत्तीसगढ़ का सबसे छोटा राष्ट्रीय उद्यान है।
- विश्व प्रसिद्ध कोटमसर गुफा कांगेर घाटी राष्ट्रीय उद्यान में है।
- कैलाश गुफा, दंडक गुफा, तीरथगढ़ जलप्रपात, कांगेर धारा जलप्रपात, भैंसा दरहा आदि कांगेर घाटी राष्ट्रीय उद्यान के प्रमुख दर्शनीय स्थल हैं।
- सबसे बड़ा वन्य जीव अभयारण्य तमोर पिंगला सूरजपुर जिले में है।
- बादलखोल छत्तीसगढ़ का सबसे छोटा अभ्यारण्य है जो कि जशपुर जिले में स्थित है।
- धमतरी जिले का सीतानदी अभ्यारण्य छत्तीसगढ़ का सबसे पुराा वन्य जीव अअभयारण्य है।
- उदंती अभ्यारण्य गरियाबंद जिले में है।
- उदंती अभ्यारण्य में वन भैंसें पाए जाते हैं।
- उदंती अभ्यारण्य में वन भैंसों के प्रजनन की परियोजना चल रही है।
- पामेड़ वन्यजीव अभयारण्य बीजापुर जिले में है।
- पामेड़ वन्यजीव अभयारण्य में भी वनभैंसे पाए जाते हैं।
- सेमरसोत अभ्यारण्य बलरामपुर जिले में स्थित है।
- भोरमदेव अभ्यारण्य कबीरधाम जिले में है।
- भोरमदेव अभ्यारण्य छत्तीसगढ़ का सबसे नया वन्य जीव अभयारण्य है।
- गोमरदा वन्य जीव अभयारण्य रायगढ़ जिले में है।
- अचानकमार अभ्यारण्य मुंगेली जिले में स्थित है।
- बारनवापारा अभ्यारण्य बलौदा बाजार जिले के कसडोल तहसील में है।
- सबसे अधिक संख्या में वन्य जीव बारनवापारा अभ्यारण्य में मिलते हैं।
- भैरमगढ़ अभ्यारण्य बीजापुर जिले में है।
छत्तीसगढ़ में खनिज भंडार
- खनिज भंडारण में देश में छत्तीसगढ़ का तीसरा स्थान है।
- जबकि खनिज उत्खनन में छत्तीसगढ़ का पांचवां स्थान है।
- देश के कुल खनिज के 6.75% हिस्से का उत्पादन छत्तीसगढ़ से होता है।
- खनिजों से राज्य को उसके कुल राजस्व का 27% मिलता है।
- छत्तीसगढ़ को सबसे अधिक खनिज राजस्व कोयला से मिलता है।
- सबसे अधिक खनिज राजस्व कोरबा जिले से मिलती है।
- छत्तीसगढ़ में कोयले की खानें प्रायः गोंडवाना युग की चट्टानों में मिलती हैं।
- जबकि धारवाड़ युग की आग्नेय चट्टानों में लौह अयस्क मिलता है।
- छत्तीसगढ़ में सबसे अधिक खनिज भंडार कोयले का है।
- कोरबा जिले की मांड नदी घाटी में सबसे अधिक कोयला भंडार होने का अनुमान है।
- सबसे अधिक कोयला खदानें कोरबा जिले में हैं।
- रायगढ़, कैरिया, कोरबा, सूरजपुर, बलरामपुर प्रमुख कोयला उत्पादक जिले हैं।
- छत्तीसगढ़ में देश का 17.45% कोयला भंडार है।
- कोयले के भंडार की दृष्टि से छत्तीसगढ़ का देश में तीसरा स्थान है।
- लेकिन कोयला उत्पादन में देश में छत्तीसगढ़ का प्रथम स्थान है।
- छत्तीसगढ़ में देश का 22.57% कोयला उत्पादन होता है।
- छत्तीसगढ़ में हेमेटाइट प्रकार का लौह अयस्क मिलता है।
- लौह अयस्क धारवाड़ चट्टानों में मिलता है।
- लौह अयस्क उत्पादन में देश में छत्तीसगढ़ का दूसरा स्थान है।
- लौह भंडार की दृष्टि से छत्तीसगढ़ का देश में तीसरा स्थान है।
- दंतेवाड़ा जिले में बैलाडीला की विश्व प्रसिद्ध लौह अयस्क की खदानें हैं।
- बैलाडीला एशिया का सबसे बड़ा लौह अयस्क निक्षेप है।
- बैलाडीला का लौह अयस्क के-के रेल लाइन के द्वारा किरंदुल से विशाखापट्टनम बंदरगाह भेजा जाता है, जहां से इसका जापान को निर्यात होता है।
- छत्तीसगढ़ की पहली लोहा खदान 1968 में किरंदुल के बैलाडीला में लगायी गई।
- बैलाडीला के लौह अयस्क का खनन NMDC (नेशनल मिनरल डेवलपमेंट कारपोरेशन) द्वारा किया जाता है।
- बैलाडीला के अलावा दल्ली राजहरा (जिला बालोद) से लौह अयस्क निकाला जाता है।
- रावघाट जिला कांकेर के लौह अयस्क भंडार को विकसित करने के लिए रेल लाइन बिछाने का काम प्रगति पर है।
- लौह अयस्क का पल्लेमाड़ी माइन्स राजनांदगांव जिले के खड़गांव क्षेत्र में।
- राजनांदगांव के मोहला क्षेत्र में बोरिया टिब्बू में भी लोहे की खानें हैं।
- आमाबेड़ा (जिला कांकेर), पनियाजोब (जिला राजनांदगांव), भालापुरी सहसपुर लोहारा क्षेत्र (जिला कबीरधाम) में भी लौह अयस्क भंडार मिले हैं।
- केसेटिराइट टिन का अयस्क है।
- टिन एक महत्वपूर्ण धातु है जिसका उपयोग रक्षा उत्पादन में किया जाता है।
- देश में टिन का उत्पादन केवल छत्तीसगढ़ में होता है।
- सुकमा और दंतेवाड़ा जिलों में टिन के भंडार हैं।
- चूना पत्थर कड़प्पा युग की चट्टानों में मिलता है।
- लगभग पूरा छत्तीसगढ़ का मैदान चूना पत्थर की चट्टानों पर अवस्थित है।
- रायपुर, दुर्ग, बलौदा बाजार, जांजगीर-चांपा चूना पत्थर उत्पादक जिले हैं।
- नंदिनी खुंदिनी चूना पत्थर खदान दुर्ग जिले में है।
- डोलोमाइट भी कड़प्पा शैलों में मिलता है।
- डोलोमाइट मैंगनीश्यम का आक्साइड है। डोलोमाइट उत्पादन में छत्तीसगढ़ पहले स्थान पर है।
- लाल खदान और हिर्री माइन्स (जिला बिलासपुर); बाराद्वार, डभरा, चांपा, अकलतरा ( जिला जांजगीर-चांपा); भाटापारा और पाटपारा ( जिला बलौदा बाजार) तथा बस्तर जिले का कमली तिरिया डोलोमाइट के प्रमुख माइन्स हैं।
- बाक्साइट एल्यूमिनियम का अयस्क है।
- बाक्साइट फुटका पहाड़ कोरबा, मैनपाट और जशपुर जिले में मिलता है।
- हीरा गरियाबंद जिले के पायली खंड झागरा में तथा बस्तर जिले के तोकापाल में मिलता है।
- बलौदा बाजार जिले के सोनाखान क्षेत्र, कांकेर जिले के सोनदई क्षेत्र में सोना पाया जाता है।
- ईब नदी की रेत में भी सोने के कण मिलते हैं।
- सोनझरिया जनजाति के लोग ईब नदी की रेत से सोना अलग करने का काम परम्परागत रूप से करते हैं।
अन्य खनिज
- यूरेनियम – बोडाल (मोहला क्षेत्र राजनांदगांव जिला), जजावल (प्रतापपुर क्षेत्र जिला सूरजपुर)।
- मैंगनीज – बिलासपुर जिला
- बेरिल – जशपुर
- ग्रेफाइट – केरलापाल जिला सुकमा।
- सीसा – जिला दुर्ग।
- गार्नेट – बीजापुर।
- अलेक्जेंड्राइट – देवभोग, सेंदमुड़ा, लाटापारा जिला गरियाबंद।
- कोरंडम – बीजापुर और सुकमा।
- फ्लुओराइट – महासमुंद।
छत्तीसगढ़ के मुख्य उद्योग
- छत्तीसगढ़ की सबसे पुरानी औद्योगिक इकाई बंगाल नागपुर काटन मिल्स (बी एन सी मिल्स) में स्थापित की गई थी।
- बी एन सी काटन मिल्स की स्थापना 1892 में राजनांदगांव में हुई थी।
- छत्तीसगढ़ में कोयला उत्खनन करने वाली प्रमुख कंपनी SECL (साउथ ईस्टर्न कोल लिमिटेड) है।
- एस ई सी एल की स्थापना 1987 में हुई थी।
- एस सी ई एल का मुख्यालय बिलासपुर में है।
- सार्वजनिक क्षेत्र की कंपनी के रूप में BALCO (भारत एल्यूमिनियम कंपनी) की स्थापना 1965 में कोरबा में की गई थी।
- बाल्को को हंगरी और रुस के तकनीकी सहयोग से बनाया गया था।
- स्टरलाइट कंपनी के पास 2004 से बाल्को का 51% शेयर है। इस प्रकार अब बाल्को सार्वजनिक क्षेत्र की कंपनी नहीं रही।
- ACC जामुल जिला दुर्ग (1964-65 में स्थापित) छत्तीसगढ़ की पहली सिमेंट कंपनी है।
- भिलाई इस्पात संयंत्र (बी एस पी) की स्थापना दूसरी पंचवर्षीय योजना के दौरान हुई।
- भिलाई इस्पात संयंत्र रुस (तत्कालीन सोवियत संघ) के तकनीकी सहयोग से स्थापित हुई।
- प्लास्टिक कांप्लेक्स – रायपुर में है।
- प्लास्टिक रिसाइक्लिंग संयंत्र – भनपुरी रायपुर।
- प्लास्टिक पार्क – राजनांदगांव में है।
- इंजीनियरिंग पार्क – भिलाई जिला दुर्ग।
- प्रथम साफ्टवेयर – भिलाई।
- प्रथम बायोटेक पार्क – अंबिकापुर।
- छत्तीसगढ़ का पहला शक्कर कारखाना – राम्हेपुर कबीरधाम।
- दूसरा शक्कर कारखाना – करकाभाट बालोद।
- टाटा स्टील प्लांट – लोहंडीगुड़ा, जगदलपुर (प्रस्तावित) ।
- तीसरा सहकारी शक्कर कारखाना – केरता सूरजपुर में।
- चौथा शक्कर कारखाना – बरमकेला रायगढ़ में प्रस्तावित।
- ब्रुक ब्रांड पेपर मिल्स चांपा में है।
- मध्य भारत पेपर मिल्स बिरगहनी चांपा में है।
- भैयाथान ताप विद्युत संयंत्र और प्रेम नगर ताप विद्युत संयंत्र सूरजपुर जिले में है।
- एस्सार का स्टील प्लांट नगरनार बस्तर जिले में है।
- एन टी पी सी (नेशनल थर्मल पावर कारपोरेशन) कोरबा की स्थापना 1978 में हुई।
- मोहन जूट मिल 1935 में रायगढ़ में स्थापित हुई।
- छत्तीसगढ़ का एक मात्र कत्था संयंत्र वुड प्रोडक्ट अंबिकापुर में है।
- सिंगल सुपर फास्फेट बनाने का कारखाना बी ई सी फर्टिलाइजर बिलासपुर जिले में है।
Raipur Shar ki sthapna Kish Sasak ne ki ti
राजा रामचंद्र ने रायपुर शहर की स्थापना की. उनके पुत्र ब्रह्मदेव राय के नाम पर इसका नामकरण हुआ.
इनमे से कौन सा कथन सत्य नहीं है–
A. Vidut upyog ki दृष्टि से agrdi jila रायपुर है
B. Vidut upyog ki dristi se पिछड़ा जिला दंतेवाड़ा है